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Sunday 14 February 2016

फोटो समाचार जीवन शैली को बदलकर ही मानव आज रह सकता हैं स्वस्थ:देवव्रत

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जीवन शैली को बदलकर ही मानव आज रह सकता हैं स्वस्थ:देवव्रत
हिमाचल के राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत ने किया निशुल्क आयुर्वेदिक शिविर का उदघाटन, सैंकड़ों लोगो का किया चैकअप और वितरित की दवाईयां, हरियाणा प्रदेश के हर जिला में वरिष्ठ नागरिको के लिए लगाया शिविर





कुरुक्षेत्र 12 फरवरी - हिमाचल के राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत ने कहा कि आधुनिक व बदलते दौर के साथ मानव के खानपान में परिवर्तन आया हैं। इस परिवर्तन के कारण साथ मनुष्य कृत्रिम जिंदगी जीने पर मजबूर हो रहा हैं, जिसके कारण प्रत्येक व्यक्ति बिमारियों की जकड़ में पहुंच चुका हैं। इसलिए मनुष्य को फिर से प्रकृति की गोद में आना होगा और जीवन जीने की शैली को बदलना होगा। 
राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत शुक्रवार को जाट धर्मशाला में जिला आयुर्वेदिक विभाग की तरफ से वरिष्ठ नागरिकों के लिए लगाए गए निशुल्क विशाल आयुर्वेद चिकित्सा शिविर के उदघाटन समारोह में बोल रहे थे। इससे पहले राज्यपाल ने माँ सरस्वती की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित किए और विधिवत रुप से शिविर का उदघाटन किया। इस दौरान राज्यपाल ने आयुर्वेद विभाग की तरफ से लगाए गई प्रदर्शनी, योग, पंचकर्म, नाड़ी परीक्षा, प्रयोगशाला, शिरोधारा, रोगियों की काउंसलिंग आदि विषयों पर लगाए गए कक्षों का अवलोकन किया। 
राज्यपाल ने बसंत पंचमी के उपलक्ष्य में हरियाणा प्रदेश के हर जिला स्तर पर मानव को स्वस्थ बनाने के उदेश्य से लगाए गए निशुल्क शिविर पर आयुष विभाग को बधाई देते हुए कहा कि आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति से मनुष्य को सरल और सहज भाव से स्वस्थ बनाया जा सकता हैं। आयुर्वेद में बिमार को पापी की संज्ञा दी गई हैं और पहले सुख को निरोगी काया कहा गया हैं। परमात्मा ने जन्म के समय सभी को अच्छा स्वास्थ्य दिया,लेकिन मनुष्य ने अपनी जीवन शैली व खानपान को बदलकर बिमारियों को न्योता देने का काम किया हैं। सभी के सामने मनुष्य का स्वास्थ्य चिंता का विषय हैं। आयुर्वेद ही सबसे पुराना, सरल और सुगम साधन हैं, जिससे बिमारियों पर अंकुश लगाकर शरीर को स्वस्थ रखा जा सकता हैं। उन्होंने गुरुकुल कुरुक्षेत्र में 2001 में स्थापित की गई पंचकर्म का उदाहरण देते हुए कहा कि इस पद्धति का फायदा लेने के लिए 8 देशों के लोग गुरुकुल में पहुंचते हैं। उन्होंने कहा कि खेत-खलिहानों में परम्परागत तरीके से खेती, गौपालन करने और अपनी जीवन शैली को बदलने की निहायत जरुरत हैं। भारतीय परम्परा के अनुसार आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति को अपनाकर अपनी काया को निरोगी बनाया जा सकता हैं।
जिला आयुर्वेद अधिकारी डा. सुदेश जाटियान ने मेहमानों का स्वागत करते हुए बताया कि आयुष विभाग के महानिदेशक डा. साकेत कुमार के दिशा-निर्देशानुसार बसंत पंचमी के पावन अवसर पर आयुष विभाग की तरफ से वरिष्ठ नागरिकों के लिए निशुल्क शिविर लगाया गया हैं। इस शिविर में सैंकड़ों लोगों का चैकअप और दवाईयां दी गई हैं। इस कार्यक्रम के मंच का संचालन डा. मोहित गुप्ता ने किया। इस मौके पर डा. उषा दत्त, डा. कृष्ण जाटियान डा. राजा सिंगला, डा. त्रिलो सैनी, डा. एसएस शर्मा, डा. चारु, डा. मिनाक्षी, डा. जागीर सिंह, डा. सुरेन्द्र सहरावत, डा. संतोष दहिया, डा. हवा सिंह, राम मेहर शास्त्री, बुटा सिंह लुखी सहित अन्य अधिकारी व गणमान्य लोग मौजूद थे।

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युवा पीढी को अच्छी शिक्षा व अच्छे संस्कार देकर पूरा करना है दीनबंधु सर छोटू राम के सपने को:देवव्रत

हिमाचल के राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत ने सर छोटू राम जयंती पर जाट धर्मशाला संस्थान को दिए 2 लाख, समाज सेवी सुखबीर शौकीन ने 5 लाख, जाट धर्मशाला में मनाई दीनबंधु सर छोटू राम जयंती व वार्षिकोत्सव
कुरुक्षेत्र 12 फरवरी - हिमाचल के राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत ने कहा कि युवा पीढी को अच्छी शिक्षा व अच्छे संस्कार देकर दीनबंधु सर छोटू राम जैसे महान लोगों के सपने को साकार करने का काम करना हैं। जब देश की भावी पीढी शिक्षित होगी तभी उन में राष्ट्रीयता की सोच पैदा होगी, इस सोच से ही हमारा राष्ट्र उन्नती के पद पर अग्रसर होगा।
राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत शुक्रवार को जाट धर्मशाला में वार्षिकोत्सव व दीनबंधु सर छोटू राम के जयंति समरोह पर आयोजित कार्यक्रम में बोल रहे थे। इससे पहले राज्यपाल का जाट धर्मशाला के प्रशासक एसडीएम शाहबाद डा. हवा सिंह व समाज से जुड़े सैंकड़ो गणमान्य लोगों ने जोरदार स्वागत किया और राज्यपाल ने सर छोटू राम की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित किए। इतना ही नहीं संस्थान के प्रशासक एसडीएम हवा सिंह ने राज्यपाल को पगड़ी पहनाकर स्वागत किया। इस दौरान राज्यपाल ने संस्थान को 2 लाख रुपए तथा इस कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे समाज सेवी सुखबीर सिंह शौकीन ने संस्थान को 5 लाख रुपए देने की घोषणा की। इस कार्यक्रम को यादगार बनाने के लिए प्रसिद्ध लोक कलाकार हरविन्द्र राणा व प्रवीण कादियान साथियों ने सर छोटू राम के जीवन पर आधारित लोकगीत व रागिनी आदि लोक कलाओं ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। 
राज्यपाल ने प्रदेश वासियों को सर छोटू राम जयंती व बंसत पंचमी की हार्दिक शुभकामनाएं देते हुए कहा कि सर छोटू राम ने बाल्यकाल से संघर्ष का जीवन जीया और ईमानदारी के पथ पर चलकर अपना एक मुकाम हासिल किया। दीनबंधू सर छोटू राम ने किसानों पर हो रहे अत्याचारों को न केवल समाप्त करने का काम किया, बल्कि किसानों के हित में कानून भी बदलवाने का काम किया। सर छोटू राम ने अपना पूरा जीवन निस्वार्थ भाव से जीया और किसानों के लिए एक लम्बी लड़ाई लड़ी। उन्होंने सर छोटू राम के जीवन के अहम पहलुओं पर प्रकाश डालते हुए कहा कि सर छोटू राम द्वारा दी गई कुर्बानियों का ऋण कभी उतरा नहीं जा सकता। उसी बहादुर कौम के लोगों को देश की रक्षा और विकास के लिए निस्वार्थ भाव से बलिदान और त्याग के लिए हमेशा तत्पर रहना चाहिए। उन्हीं कौमों का इतिहास स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाता हैं, जिन कौमों के लोग बलिादन और त्याग करते हैं। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे दिल्ली से आए समाजे सेवी सुखबीर सिंह शौकीन ने भी सभी को दीनबंधू सर छोटू राम की जयंति पर बधाई दी। 
जाट धर्मशाला के प्रशासक एवं एसडीएम शाहबाद हवा सिंह ने मेहमानों का स्वागत करते हुए कहा कि आज समाज को दीनबंधू सर छोटू राम जैसे महान लोगों की जरुरत हैं। समाज के लोगों को सर छोटू राम के जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए और समाज के विकास में अपना योगदान देने के लिए भाईचारे की भावना पैदा करनी चाहिए। उन्होंने जाट धर्मशाला व संस्थान की गतिविधियों और लेखे-जोखे विस्तारपूर्ण वर्णन किया और कहा कि यह संस्थान बुलंदियों को छुऐगा। कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी की शिक्षक एवं समाज सेवी डा. संतोष दहिया ने आंगुतकों का आभार व्यक्त किया। इस कार्यक्रम के मंच का संचालन यूनिवर्सिटी डीवाईसीए के निदेशक डा. महासिंह पूनिया ने किया। इसके उपरांत एसडीएम हवा सिंह ने राज्यपाल आचार्य डा. देवव्रत को स्मृति चिन्ह भेंट किया। इसके अलावा समाज सेवी सुखबीर शौकीन व डा.संतोष दहिया को भी स्मृति चिन्ह दिया। इस मौके पर संस्थान व समाज के गणमान्य लोग मौजूद थे। 


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बसंत पंचमी के पर्व पर समाज उत्थान की शपथ ले युवा:नरेन्द्र
बंसत पंचमी पर मैराथन दौड़ को एआईपीआरओ ने दी हरी झंडी, दौड़ में 250 खिलाडिय़ों ने लिया भाग

कुरुक्षेत्र 12 फरवरी - सहायक सूचना एवं जन सम्पर्क अधिकारी डा. नरेन्द्र सिंह ने कहा कि बंसत पंचमी के पावन पर्व पर युवा पीढ़ी को समाज के विकास में अपना योगदान देने की शपथ लेनी चाहिए। युवा पीढ़ी ही समाज को नई दिशा देने में सक्षम हैं। 
एआईपीआरओ डा. नरेन्द्र सिंह शुक्रवार को जिला ओलम्पिक संघ व जिला ख्ेाल एवं युवा कार्यक्रम विभाग की तरफ से द्रोणाचार्य स्टेडियम में आयोजित मैराथन दौड़ में शामिल होने वाले विद्यार्थियों को सम्बोधित कर रहे थे। इससे पहले एआईपीआरओ ने मैराथन दौड़ को हरी झंडी देकर रवाना किया। इस दौड़ में 250 से ज्यादा विभिन्न स्कूलों के विद्यार्थियों व खिलाडिय़ों ने भाग लिया। उन्होंने कहा कि युवा पीढ़ी के साथ-साथ समाज के लोगों को जागरुक करने के उदेश्य से ही मैराथन दौड़ जैसे कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता हैं। युवा पीढ़ी को शिक्षा, ख्ेाल और अच्छे संस्कार ग्रहण करने पर अपना पूरा ध्यान देना चाहिए। वरिष्ठ प्रशिक्षक यशबीर सिंह ने बताया कि यह मैराथन दौड़ शहीद उधम सिंह चौंक से होते हुए जिंदल पार्क सैक्टर 3, जिमखाना क्लब से होते हुए द्रोणाचार्य स्टेडियम पर सम्पन्न हुई। इस मौके पर प्रशिक्षक मनोज कुमार, सुदेश कुमार, पंकज कुमार, जितेन्द्र, सुखबीर, साई से बलवंत कौर, टेक सिंह, गुरविन्द्र सिंह, सतपाल सिंह आदि मौजूद थे।

1 comment:

  1. जीवन शैली को बदलकर ही मानव आज रह सकता हैं, बिल्कुल सही कहा सर अपने| बिना सही जीवन शैली जीना दुर्भर है|अपने संबंध को जीवन शैली बनाए रखने के लिए, जीवन शैली समाचार werindia पर पढ़ें।

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